Aaj Ka Panchang: आज ’12 अप्रैल’ 2024 का शुभ मुहूर्त, पढ़ें दिशाशूल, तिथि और शुभ कार्य

Aaj Ka Panchang: आज 12 अप्रैल 2024 का शुभ मुहूर्त, पढ़ें दिशाशूल, तिथि और शुभ कार्य:-

~Aaj Ka Panchang वैदिक पंचांग ~

🌞 ~ वैदिक पंचांग ~ 🌞

🌤️ दिनांक -12 अप्रैल 2024
🌤️ दिन – शुक्रवार
🌤️ विक्रम संवत – 2081 (गुजरात-महाराष्ट्र अनुसार – 2080)
🌤️ शक संवत -1946
🌤️ अयन – उत्तरायण
🌤️ ऋतु – वसंत ॠतु
🌤️ मास – चैत्र
🌤️ पक्ष – शुक्ल
🌤️ तिथि – चतुर्थी दोपहर 01:11 तक तत्पश्चात पंचमी
🌤️ नक्षत्र – रोहिणी रात्रि 12:51 तक तत्पश्चात मृगशिरा
🌤️ योग – सौभाग्य 13 अप्रैल रात्रि 02:13 तक तत्पश्चात शोभन
🌤️ राहुकाल – सुबह 11:05 से दोपहर 12:39 तक
🌞 सूर्योदय-06:03
🌤️ सूर्यास्त- 17:55
👉 दिशाशूल – पश्चिम दिशा में
🚩 व्रत पर्व विवरण – विनायक चतुर्थी
💥 विशेष – *चतुर्थी को मूली खाने से धन का नाश होता है। (ब्रह्मवैवर्त पुराण, ब्रह्म खंडः 27.29-34)

Aaj Ka Panchang आर्थिक परेशानी हो तो :-

स्कंद पुराण में लिखा है पौष मास की शुक्ल पक्ष की दसमी तिथि चैत्र मास की शुक्ल पक्ष की पंचमी(13 अप्रैल 2024 शनिवार) और सावन महीने की पूनम ये दिन लक्ष्मी पूजा के खास बताये गये हैं | इन दिनों में अगर कोई आर्थिक कष्ट से जूझ रहा है |

पैसों की बहुत तंगी है घर में तो 12 मंत्र लक्ष्मी माता के बोलकर, शांत बैठकर मानसिक पूजा करे और उनको नमन करें तो उसको भगवती लक्ष्मी प्राप्त होती है, लाभ होता है, घर में लक्ष्मी स्थायी हो जाती हैं | उसके घर से आर्थिक समस्याए धीरे धीरे किनारा करती है | बारह मंत्र इसप्रकार हैं –

♦ ॐ ऐश्‍वर्यै नम:
♦ ॐ कमलायै नम:
♦ ॐ लक्ष्मयै नम:
♦ ॐ चलायै नम:
♦ ॐ भुत्यै नम:
♦ ॐ हरिप्रियायै नम:
♦ ॐ पद्मायै नम:
♦ ॐ पद्माल्यायै नम:
♦ ॐ संपत्यै नम:
♦ ॐ ऊच्चयै नम:
♦ ॐ श्रीयै नम:
♦ ॐ पद्मधारिन्यै नम:
♦ सिद्धिबुद्धिप्रदे देवि भुक्तिमुक्ति प्रदायिनि | मंत्रपूर्ते सदा देवि महालक्ष्मी नमोस्तुते ||

♦ द्वादश एतानि नामानि लक्ष्मी संपूज्यय पठेत | स्थिरा लक्ष्मीर्भवेतस्य पुत्रदाराबिभिस: ||

♦ उसके घर में लक्ष्मी स्थिर हो जाती है | जो इन बारह नामों को इन दिनों में पठन करें |

♦ विशेष ~ 13 अप्रैल 2024 शनिवार को चैत्र मास के शुक्ल पक्ष की पंचमी तिथि है ।

Aaj Ka Panchang मेष संक्रांति :-

♦ 13 अप्रैल 2024 शनिवार को मेष संक्रांति (पुण्यकाल : दोपहर 12:27 से सूर्यास्त तक)
इसमें किया गया जप, ध्यान, दान व पुण्यकर्म अक्षय होता है ।

Aaj Ka Panchang चैत्र नवरात्रि :-

नवरात्रि के चौथे दिन यानी चतुर्थी तिथि को माता दुर्गा को मालपुआ का भोग लगाएं ।इससे समस्याओं का अंत होता है ।

♦ चैत्र नवरात्रि

Aaj Ka Panchang रोग, शोक दूर करती हैं मां कूष्मांडा :-

नवरात्रि की चतुर्थी तिथि की प्रमुख देवी मां कूष्मांडा हैं। देवी कूष्मांडा रोगों को तुरंत नष्ट करने वाली हैं। इनकी भक्ति करने वाले श्रद्धालु को धन-धान्य और संपदा के साथ-साथ अच्छा स्वास्थ्य भी प्राप्त होता है।

मां दुर्गा के इस चतुर्थ रूप कूष्मांडा ने अपने उदर से अंड अर्थात ब्रह्मांड को उत्पन्न किया। इसी वजह से दुर्गा के इस स्वरूप का नाम कूष्मांडा पड़ा।

मां कूष्मांडा के पूजन से हमारे शरीर का अनाहत चक्रजागृत होता है। इनकी उपासना से हमारे समस्त रोग व शोक दूर हो जाते हैं। साथ ही, भक्तों को आयु, यश, बल और आरोग्य के साथ-साथ सभी भौतिक और आध्यात्मिक सुख भी प्राप्त होते हैं।

Aaj Ka Panchang शुक्रवार के ज्योतिष उपाय :-

ज्योतिष शास्त्र में शुक्रवार का महत्व अत्यधिक है। इस दिन लक्ष्मी माता की विधि-विधान से पूजा करने से आपको जीवन में चल रही तमाम समस्याओं का समाधान मिल सकता है। इसके साथ ही आपके कारोबार में तरक्की होगी और धनलाभ भी हो सकता है।

यहां कुछ आसान शुक्रवार के ज्योतिष उपाय हैं:

  1. शुक्र स्तोत्र का पाठ: शुक्र स्तोत्र का पाठ करने से शुक्र देव प्रसन्न होते हैं। यह उपाय शुक्र ग्रह को मजबूत करता है और उच्च स्थिति में आने में मदद कर सकता है।
  2. शिव माता की पूजा: शुक्रवार के दिन भगवान शिव की उपासना करें। सूर्योदय से पहले उठकर स्नान करें और सफेद वस्त्र पहनें। भगवान शिव के मंदिर जाएं, उन्हें जल या दूध अर्पित करें और सफेद फूल चढ़ाएं।
  3. शुक्र ग्रह को उच्च स्थिति में रखने के उपाय: नारियल का तेल अपने शरीर पर लगाने से शुक्र ग्रह को उच्च स्थिति में परिवर्तित करने में मदद मिल सकती है।
  4. शुक्रवार के दिन सफेद खाद्य पदार्थ खाएं: दूध, खीर, चावल, नारियल, साबुत दाना और दही जैसे सफेद खाद्य पदार्थ खाने से शुक्र ग्रह मजबूत हो सकता है।

याद रखें कि ये उपाय अत्यंत सरल और प्रभावशाली हैं। शुक्रवार के दिन इन उपायों को अपनाकर आप अपने जीवन में सुख, समृद्धि और धन क

Aaj Ka Panchang नशे की आदत छोड़ना :-

अगर अगर आपके घर के किसी सदस्य को किसी प्रकार के नशे की आदत है और आप समस्त उपाय करने के बाद भी कोई सुधार नहीं हो रहा है तो सबसे पहले घर के ईशान कोण को हल्का खुला नीचे और साफ रखने का प्रयास करें इस दिशा में जल का कलश एवं मंदिर अवश्य होना चाहिए और नैऋत्य कोण को भारी एवं ऊंचा कर दें।

इस दिशा में अगर कोई खिड़की या दरवाजे है तो यथा संभव उसे बंद रखें दरवाजे में देहली अवश्य लगवा ले और हो सके तो कमरे के फर्श का ढलान भी उत्तर या पूर्व दिशा में करवा ले और ध्यान रखें ऐसे लोगों को घर के अग्निकोण या वायव्य दिशा वाले कमरे में नहीं सोने दे इसमें हर तरह की समस्याएं बढ़ जाती है यह उपाय करें आपको अवश्य लाभ होगा।।

|| ♥ धन्यवाद् ♥ ||


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